मंडी में कृषि विभाग को सबसे ज्यादा चपत; रिपोर्ट तैयार, आज आएगी केंद्र की टीम
शिमला – हिमाचल में इस बार बरसात किसानों-बागबानों का लाखों करोड़ों की चपत लगा गई। कृषि विभाग के आंकड़ों के अनुसार अभी तक सभी जिलों को मिलाकर 81.07 करोड़ का नुकसान आंका गया है। हैरानी तो इस बात की है कि कई हेक्टेयर जमीन भी बारिश की भेंट किसानों की चढ़ी है। सबसे ज्यादा मंडी जिले में किसानों के खेतों को नुकसान हुआ है। मंडी में 77080 हेक्टेयर जमीन किसानों की बह गई, या यूं कहें कि बारिश की वजह से यहां लोगों की उगाई सभी फसलें भी बुरी तरह तहस-नहस हो गईं। कृषि विभाग के पास सभी जिलों से नुकसान की रिपोर्ट आ गई है। इस रिपोर्ट के मुताबिक बिलासपुर में 18.81 लाख, चंबा में 1847.55 लाख, 1847.55 लाख, हमीरपुर में 186.39, कांगड़ा में 15.92, किन्नौर में 68.43, कुल्लू 52.87 लाख, लाहुल-स्पीति 211.52 लाख, मंडी 92.70, शिमला 1341.20 लाख, सिरमौर 2118.51 लाख, सोलन में 199.70, ऊना में 1954.28 लाख का नुकसान कृषि विभाग के पास आई रिपोर्ट में अांका गया है। विभागीय जानकारी के अनुसार सबसे ज्यादा नुकसान चंबा, लाहुल-स्पीति, मडी, सिरमौर व ऊना में हुआ है। इसके अलावा ज़मीन की बात करें, तो कई हेक्टेयर ज़मीन इस बरसात में किसानों की बह गई। कृषि विभाग से आई इस रिपोर्ट के बाद अब केंद्र सरकार को भी नुकसान की जानकारी विभाग देगा। अहम यह है कि बुधवार को केंद्र सरकार की टीम खुद भी हिमाचल के दौरे पर आ रही है। इस दौरान दो दिन कृषि विभाग के साथ केंद्र की टीम बैठक आयोजित करेगी। इस बैठक में प्रदेश में फार्मर्स को कितना नुकसान हुआ, यह जानकारी ली जाएगी। गौर हो कि सबसे ज्यादा निचले क्षेत्र ऊना, सोलन में बारिश की वजह से मक्की व विभिन्न दालों को नुकसान हुआ। ऊपरी क्षेत्रों में किसानों के सेब के पौधे सहित उनके बागीचों को भी काफी नुकसान पहुंचा है। ऐसे में इन किसानों को भी उम्मीद है कि केंद्र सरकार इस बार अतिरिक्त बजट देगी। जानकारी यह भी है कि केंद्र से आने वाली टीम किसानों के पौधों को कितना नुकसान हुआ है, इस बारे में भी जानकारी एकत्र करेगी।
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Courtsey: Divya Himachal
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