विभिन्न सरकारी कार्यालयों में कार्य कर रहे प्रशिक्षणार्थियों को देनी होगी दैनिक रिपोर्ट- उपायुक्त

विभिन्न सरकारी कार्यालयों में कार्य कर रहे प्रशिक्षणार्थियों को देनी होगी दैनिक रिपोर्ट- उपायुक्त
- अब प्रशिक्षणार्थी 15  दिन
 सीखेंगे जिलाधीश कार्यालय में कार्य
- उपायुक्त शिमला की नई पहल, जारी किए आदेश


सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता विभाग की ओर से कम्प्यूटर एप्लीकेशन एवं समवर्गी क्रियाकलाप के अंतर्गत दक्षता योजना  के तहत  प्रशिक्षणार्थियों को छह माह  प्रवीणता कार्यक्रम के दौरान उपायुक्त शिमला को कार्यालय में सीखे हुए कार्य  दैनिक रिपोर्ट देनी होगी। उपायुक्त अनुपम कश्यप ने इस बारे में संबंधित विभाग को रिपोर्ट का प्रारूप तैयार करने के निर्देश दे दिए है। इसके साथ ही  जिलाधीश कार्यालय में 15 दिनों तक प्रशिक्षणार्थियों को कार्य सीखना होगा।
उपायुक्त ने जानकारी देते हुए कहा कि विभाग की ओर से कम्प्यूटर एप्लीकेशन एवं समवर्गी क्रिया-कलापों के अन्र्तगत दक्षता योजना   अनुसूचित जाति,अनुसूचित जन जाति, अन्य पिछड़ा वर्ग, अल्पसंख्यक वर्ग, विधवा, एकल नारी एवं दिव्यांगजन जिनकी उम्र 18 वर्ष से 35 वर्ष के बीच हो। इसके साथ बीपीएल परिवार से सम्बन्ध रखते हो अथवा जिनके माता-पिता व अभिभावक की पारिवारिक वार्षिक आय मु0 2,00,000- (दो लाख) रूपये से अधिक न हो तथा कम से कम 10 जमा 2 तथा स्नातक पास की हो, को सरकार द्वारा मान्यता प्राप्त संस्थानों (नाईलिट व सी-डैक) से पी०जी०डी०सी०ए०,डी०सी० ए० के अन्तर्गत एक वर्ष का प्रशिक्षण प्रदान किया जाता है। प्रशिक्षण के दौरान उन प्रशिक्षुओं को 1000-रू0 प्रतिमाह की दर से छात्रवृति कौशल विकास निगम द्वारा प्रदान की जाती है। प्रशिक्षण पूर्ण करने के उपरान्त विभाग द्वारा प्रशिक्षणार्थियों को  प्रवीणता हेतु छः माह के लिए विभिन्न विभागों में प्लेसमेंट पर रखा जाता है।  जिला शिमला में 178 बच्चे विभिन्न विभागों में प्रवीणता के लिए कार्य कर रहे हैं। इन लाभार्थियों को  प्लेसमेंट के दौरान मु0 1,500-रू0 की दर से मासिक छात्रवृत्ति विभाग द्वारा प्रदान की जाती है तथा विशेष रूप से सक्षम प्रशिक्षु को मु0 1800-रू0 मासिक छात्रवृत्ति प्रदान की जाती है ।

उपायुक्त ने कहा कि हमारी प्राथमिकता है योजनाओं के तहत लाभार्थियों को असल में लाभ मिल भी रहा है या नहीं । दैनिक रिपोर्ट का असली लक्ष्य लाभार्थियों को सरकारी कार्यों में निपुण बनाना है। ताकि भविष्य के लिए बेहतर हो सके। ऐसे में प्रशिक्षणार्थी दैनिक अपनी रिपोर्ट बनाया करेंगे। इसके बाद अपने विभागाध्यक्ष से रिपोर्ट पर हस्ताक्षर होंगे। उसके उपरांत एक महीने बाद रिपोर्ट विभागाध्यक्ष के माध्यम से मेरे कार्यालय आएगी। मैं हर प्रशिक्षणार्थी की रिपोर्ट चैक करूंगा। 

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