
नादौन | स्थानीयमहर्षि विद्या मंदिर में पांच दिवसीय ध्यान एवं योग शिविर का आयोजन किया गया। शिविर ध्यान शिक्षक सीमांत खरे अनिल कुमार सिंह सूर्यवंशी की देख-रेख में हुआ। तिवारी ने बताया कि भावातीत ध्यान की एक सरल सहज एवं प्रयास रहित पद्धति है। मन की आत्मा की शुद्धि उसके विकास, उसकी शक्ति में वृद्धि और उसके प्रकट रूप भौतिक शरीर के विकास, उसकी शक्ति के विकास उसकी शुद्धि, उसके ओज एवं तेज में अभिवृद्धि के बारे में जानकारी दी। योग के आठों अंगों की व्याख्या की साथ में उन्होंने सभी उपस्थित लोगों को योग द्वारा निरोगी बने रहने के नुख्से भी बताए।
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source: Dainik Bhaskar
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